जन विश्वास बिल एक ऐसा प्रावधान है जिसके तहत 19 मंत्रालयों से जुड़े 42 अधिनियमो मे बदलाव करके छोटे-मोटे अपराधों को अपराध के दायरे से बाहर कर दिया जाएगा। इससे उन कारोबारियो और आम लोगों को लाभ मिलेगा जो अनजाने मे छोटी-मोटी गलतियां कर देते हैं और इस वजह से उन्हें कोर्ट के चक्कर काटने पड़ते हैं जिससे उनके कारोबार मे नुकसान होता है।
जन विश्वास बिल को लोकसभा में पेश करते हुए ये कहा गया है कि इस बिल के बन जाने के बाद कारोबारियो को बिजनेस करने मे आसानी होगी जिससे देश की अर्थव्यवथा मे भी सुधार आएगा।
जन विश्वास बिल पेश करने का उद्देश्य क्या है और इससे किसको क्या लाभ मिलने वाला है इसकी चर्चा हम यहाँ करने वाले हैं इसलिए इस पोस्ट को अंत तक जरूर पढ़े।

आइये जान लेते हैं कि जन विश्वास बिल क्या है-
जन विश्वास बिल क्या है?
जन विश्वास बिल केंद्रीय सरकार द्वारा जारी एक प्रावधान है जिसके तहत 42 अधिनियम के 183 प्रावधानों मे संशोधन करते हुए मामूली अपराधों को अपराध की कैटेगरी से हटाया जाएगा ताकि आम कारोबारी को छोटे-मोटे अपराधों के लिए सजा ना मिले और सिर्फ जुर्माना लेकर मामले को सुलझाया जा सके जिससे ईज ऑफ बिजनेस को बढ़ावा मिलेगा।
जन विश्वास बिल को केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने 22 दिसंबर 2022 को पेश किया था जिसमें कहा गया कि छोटे-मोटे अपराधों पर सजा मिलने से कारोबारियों के बिजनेस मे बहुत ज्यादा नुकसान हो रहा है क्योंकि उन्हें अदालत के चक्कर लगाने पड़ रहे है जिससे उनके व्यापार के साथ- साथ देश के विकास मे भी रुकावट आ रही है।
ऐसे मे कारोबारियो को कोर्ट के झंझट से बचाने के लिए ये फैसला लिया गया है कि छोटी-मोटी गलतियों पर कारोबारियों को सजा देने के बजाय उनसे जुर्माना वसुला जाएगा। इससे अदालत पर पड़ने वाला बोझ भी कम होगा और मामूली मुद्दों को निपटाने मे उनका समय भी बर्बाद नहीं होगा।
जन विश्वास बिल: Highlights
हालही मे केंद्रीय सरकार ने जो जन विश्वास बिल पेश किया है उससे जुड़ी कुछ खास बातें हैं जो आपको भी जरूर पता होनी चाहिए, ये खास बातें कुछ इस प्रकार हैं-
पोस्ट का नाम | जन विश्वास बिल |
पेश किया गया | 22 दिसंबर 2022 |
किसके द्वारा पेश किया | केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल |
उद्देश्य | छोटे-मोटे अपराधों को निरस्त करके न्यायपालिका के बोझ को कम करना और व्यापार को आसान बनाना। |
लाभ | ईज ऑफ डूइंग बिजनेस मे बढ़ावा होगा और न्यायपालिका का बोझ कम होगा। |
लाभार्थी | बिजनेसमैन |
जन विश्वास बिल का उद्देश्य क्या है?
जन विश्वास बिल को पेश के करने के पीछे सरकार का बड़ा उद्देश्य है। व्यापार को आसान बनाने के उद्देश्य से इस बिल को पेश किया गया है। इसके अलावा भी जन विश्वास बिल के और भी कई उद्देश्य हैं जो कुछ इस प्रकार हैं-
- जन विश्वास बिल का उद्देश्य छोटे-छोटे अपराधों को अपराध के दायरे से हटाना है।
- इस बिल का उद्देश्य छोटे अपराधों को निरस्त करके ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को बढ़ावा देना है।
- इस बिल का उद्देश्य है कि मामूली गलतियों पर किसी को सजा ना दी जाए और जुर्माना लेकर आसानी से मामलो को निपटाया जा सके ताकि न्यायपालिका का बोझ भी कम हो पाए।
- इस बिल का उद्देश्य जेलों मे कैदियो की संख्या को कम करना भी है।
- आपराधिक मामलो मे कमी लाना भी इस बिल का उद्देश्य है।
- इस बिल को पेश करने के पीछे बड़ा मकसद ये भी है कि जनता और सरकार का एक दूसरे के ऊपर विश्वास बढ़े ताकि सरकार और जनता के बीच ताल-मेल बैठ सके और देश के सर्वागिण विकास के लिए ये बेहद जरुरी भी है।
जन विश्वास बिल से किसको लाभ होगा?
जन विश्वास बिल से जनता और सरकार दोनों को ही लाभ मिलने वाला है। इससे व्यापार के क्षेत्र मे भी बदलाव देखने को मिलेगा जिससे देश की अर्थव्यवथा भी सुधरेगी। आइये जानते हैं कि जन विश्वास बिल से किसको क्या लाभ मिलने वाला है-
आम जनता को लाभ | कई बार लोगों से अनजाने मे छोटी-मोटी गलतियां हो जाती है जिससे उन्हें बार- बार कोर्ट-कचहरी के चक्कर लगाने पड़ते हैं और इस वजह से उन्हें काफी दिक्कते भी होती है, ऐसे मे जन विश्वास बिल पेश होने के बाद आम लोगों को क़ानून की लम्बी कार्यवाही से गुजरना नहीं पड़ेगा और सिर्फ जुर्माना देकर ही वो आसानी से इन कानूनी मामलो से बच जाएँगे। |
कारोबारियो को लाभ | जन विश्वास बिल पेश होने से कारोबारियों को काफी ज्यादा लाभ होगा क्योंकि वे आसानी से व्यापार कर पाएंगे। इस बिल के पेश होने से पहले कारोबारियो को मामूली अपराधों के लिए कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ता था जिससे उन्हें काफी नुकसान उठाना पड़ता था लेकिन इस बिल के पेश होने के बाद उन्हें किसी भी तरह की कानूनी कारवाही नहीं करनी होगी और अपने अपराध का जुर्माना देकर वो बिना किसी रुकावट के व्यापार कर सकेंगे। |
न्यायपालिका को लाभ | जन विश्वास बिल पेश होने के बाद देश की न्यायपालिका को भी लाभ होगा क्योंकि उन्हें छोटे-मोटे मामलो के लिए कोई कारवाही नहीं करनी पड़ेगी और बड़ी आसानी से मामूली बातों का निपटारा हो जाएगा, इससे न्यायपालिका का समय बचेगा और वो दूसरी जरुरी कार्यवाही पर ध्यान दे सकेगी। |
ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को लाभ | व्यापार के क्षेत्र मे भी इस बिल का असर देखने को मिलेगा। हमारे देश मे कई ऐसे क़ानून है जिनके तहत मामूली अपराधों पर भी जेल जाने का प्रावधान है और इसी वजह से कारोबारियों को व्यापार करने मे दिक्कत आती है जिससे व्यापार के क्षेत्र मे वो विकास देखने को नहीं मिला है जो होना चाहिए लेकिन इस बिल के पेश होने से पुराने कानूनों मे संशोधन होगा जिसके तहत मामूली अपराधों के लिए सजा देने के बजाय सिर्फ जुर्माना लिया जाएगा और व्यापारी बिना किसी झंझट मे पड़े व्यापार कर सकेंगे, इससे ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को बढ़ावा मिलेगा। |
सरकार को लाभ | जन विश्वास बिल को पेश होने से आपराधिक मामलो मे कमी आएगी क्योंकि इसके तहत सरकार ने बिल मे 35,00 मानदंड पेश किये हैं। इस बिल के पास होने से जनता का सरकार पर विश्वास भी बढेगा और ज्यादातर मुद्दों का आसानी से निपटारा होने से सरकार का समय और ऊर्जा दोनों बचेगी। |
देश को लाभ | जन विश्वास बिल से ईज ऑफ डूइंग बिजनेस आगे बढेगा जिससे देश की अर्थव्यवथा सुधरेगी। |
जान विश्वास बिल विस्तार से समझिये(Jan Vishwas Bill Explain In Detail)
2022 मे जो जन विश्वास बिल लोकसभा मे पेश किया गया है उसके तहत छोटे अपराधों को निरस्त करने का फैसला लिया गया है जिसके लिए 183 प्रावधानों मे संसोधन किया जाएगा और लोगों को छोटे अपराधों के लिए सजा ना देकर जुर्माना लिया जाएगा।
जन विश्वास बिल केंद्रीय सरकार की एक पहल है जिसके जरिये व्यापार को आगे बढ़ाने के लिए मामूली अपराधों को खत्म करने की कोशिश की जा रही है। इस बिल के उद्देश्य को पूरा करने के लिए कई जरुरी कदम उठाए गए हैं जैसे कि-
- अपराधों को कम करने के लिए 35,00 मानदंडों को पेश किया गया है।
- देश के 1500 पुराने कानूनों मे संसोधन किया गया है।
- 39,000 अधिनियमो को आसान बना दिया गया है।
- मामूली अपराधों के लिए सजा देने के बजाय जुर्माने का प्रावधान जारी किया गया है।
- ये फैसला किया गया है कि हर तीन साल के बाद लगाए गए जुर्माने और जुर्माने की न्यूनतम राशि में 10 प्रतिशत की बढ़त कर दी जाएगी जिससे अपराध कम होने मे मदद मिलेगी।
सरकार का कहना है कि जेल जाने के डर से कारोबारी ढंग से व्यापार नहीं कर पा रहे हैं जिससे व्यापार पारिस्थितिक तंत्र पर असर पड़ रहा है इसलिए इन मामूली गलतियों को अपराध के दायरे से बाहर करके कारोबारियो का डर खत्म करना जरुरी है और इसके लिए कई अधिनियमो मे बदलाव किये गये हैं।
जन विश्वास बिल के तहत जिन अधिनियमो मे बदलाव हुए हैं वो वित्त, खाद्य उत्पादन और वितरण, वित्तीय सेवाएं, कृषि, वाणिज्य, पर्यावरण, सड़क परिवहन और राजमार्ग, पोस्ट, इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी आदि केंद्रीय मंत्रालय के तहत आते हैं, इन अधिनियमो की लिस्ट कुछ इस प्रकार है-
Sr Number | अधिनियम |
1. | ड्रग्स एंड कॉस्मेटिक्स एक्ट, 1940 |
2. | लोक ऋण अधिनियम, 1944 |
3. | फार्मेसी अधिनियम, 1948 |
4. | चलचित्र अधिनियम, 1952 |
5. | कॉपीराइट अधिनियम, 1957 |
6. | पेटेंट अधिनियम, 1970 |
7. | पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम, 1986 |
8. | मोटर वाहन अधिनियम, 1988। |
9. | ट्रेड मार्क अधिनियम, 1999 |
10. | रेलवे अधिनियम, 1989 |
11. | सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 |
12. | मनी-लॉन्ड्रिंग अधिनियम,2000 |
13. | मानक अधिनियम, 2006 |
14. | खाद्य सुरक्षा |
15. | लीगल मेट्रोलॉजी एक्ट, 2009 |
16. | फैक्टरिंग विनियमन अधिनियम, 2011। |
यानी कि अब पुराने कानूनों के चलते आम जनता और कारोबारियो को लम्बी कानूनी कारवाही के झंझट मे पड़ने की जरुरत नहीं होगी।
जन विश्वास बिल की जरुरत क्यों है?
ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को आगे बढ़ाने और आम जनता की दिक्कत को कम करने के लिए जन विश्वास बिल की जरुरत है।
बहुत से लोग ऐसे हैं जो छोटी-मोटी गलतियों की वजह से भी बड़ी समस्या मे पड़ जाते हैं और कई बार उन्हें अदालत का सामना भी करना पड़ता है, वहीं कुछ लोग ऐसे भी हैं जो अनजाने मे कानूनी मामले मे पड़ जाते हैं, इससे उनके काम मे नुकसान तो होता ही है साथ ही न्यायपालिका के ऊपर भी प्रेशर बढ़ जाता है और उनका समय भी बर्बाद होता है।
इन समस्याओ से निजात पाने के लिए ही जन विश्वास बिल की जरुरत है ताकि ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को लाभ मिल सके और देश की अर्थव्यवथा मे सुधार हो।
जन विश्वास बिल के फायदे क्या हैं?
जन विश्वास बिल पेश करके केंद्रीय सरकार ने बहुत बड़ी पहल की है जिससे देश, सरकार, और जनता तीनो को बड़ा फायदा होने वाला है। जन विश्वास बिल से मिलने वाले फायदे कुछ इस प्रकार हैं-
- अब मामूली अपराधों मे लोगों को अदालत का चक्कर नहीं लगाना पड़ेगा।
- मामूली गलतियों को अपराध की कैटेगरी से हटा दिया जाएगा।
- 1500 पुराने कानूनों मे संशोधन होगा जिससे आपराधिक मामलो मे कमी आएगी।
- जेल मे कैदियो की संख्या कम होगी।
- ईज ऑफ डूइंग बिजनेस के विस्तार से देश आगे बढेगा।
- अब मामूली अपराधों मे सिर्फ जुर्माना लेकर मामले का निपटारा हो जाएगा।
- कारोबारियो को छोटी गलतियों पर जेल जाने का डर नहीं होगा जिससे वे अच्छी तरह व्यापार कर पाएंगे।
- इस बिल से आम लोग आराम से अपनी जिंदगी जी पाएंगे।
- न्यायपालिका का बोझ कम होगा जिससे वो कम समय मे ज्यादा से ज्यादा मुद्दों को सुलझा पाएगी।
- सरकार और न्यायपालिका का समय बचेगा।
- आम कारोबारी का सरकार पर विश्वास बढेगा।
FAQ
जन विश्वास बिल किनके लिए है?
जन विश्वास बिल मुख्य रूप से उन आम जनता और कारोबारियो के लिए है जो छोटी-मोटी गलतियों के कारण लम्बी कानूनी कारवाही मे फस जाते हैं जिसके कारण उनके बिजनेस मे नुकसान होता है और जीवन मे भी काफी दिक्कते आती हैं।
जन विश्वास बिल क्यों लाया गया है?
जन विश्वास बिल ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को बढ़ावा देने और व्यापार को आसान बनाने के लिए लाया गया है ताकि करोबरियो और आम जनता को हर छोटे अपराधों के लिए अदालत का दरवाजा ना खटखटाना पड़े और मामूली मुद्दों को बिना कानूनी कारवाही के आसानी से सुलझाया जा सके।
निष्कर्ष
दोस्तों, यहाँ आपने जाना कि जन विश्वास बिल क्या है और इसके आने से देश के आम लोगों और कारोबारियों को कितना ज्यादा लाभ मिला है।
उम्मीद करते है कि हमारे द्वारा दी गई सारी जानकारी आपको पसंद आयी होगी और आपके लिए फायदेमंद भी होगी।
तो अब आप बताइए कि-
❓ क्या जन विश्वास बिल आपको फायदेमंद लगता है?
❓ क्या आपको भी मामूली गलतियों की वजह से व्यापार मे नुकसान हुआ है?
❓ क्या आपको भी कभी छोटी-मोटी गलतियों की वजह से कानूनी कारवाही से गुजरना पड़ा है?
तो कमेंट बॉक्स मे बताइये कि जन विश्वास बिल पर आपकी क्या राय है और पुराने कानूनों के चलते आपको किन परेशानियों का सामना करना पड़ा।